शिक्षकों के अवैतनिक वेतन पर दिल्ली नगर निकाय को कोर्ट का नोटिस

शिक्षकों की याचिका पर हाईकोर्ट ने एमसीडी को नोटिस जारी किया। (प्रतिनिधि)

नयी दिल्ली:

दिल्ली उच्च न्यायालय ने एमसीडी के शिक्षा विभाग में कार्यरत सभी शिक्षकों और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को जनवरी 2023 से बकाया वेतन जारी करने के लिए एमसीडी को निर्देश देने की मांग करने वाले कई शिक्षकों की याचिका पर आज दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) को नोटिस जारी किया। और भविष्य के वेतन का भुगतान भी समय पर करें।

जस्टिस सतीश चंदर शर्मा और जस्टिस सुब्रमण्यम प्रसाद की खंडपीठ ने अपने कर्मचारियों को वेतन देने में हो रही देरी पर एमसीडी से नाराजगी जताई.

मुख्य न्यायाधीश ने एमसीडी के वकील से पूछा, “जब आपके आयुक्त ने हमें समय पर वेतन भुगतान का आश्वासन दिया था तो शिक्षकों और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को वेतन का भुगतान क्यों नहीं किया गया है।”

हाईकोर्ट ने एडवोकेट अशोक अग्रवाल के माध्यम से दायर शिक्षकों की याचिका पर एमसीडी को नोटिस जारी किया। अगली तारीख 24 मार्च, 2023 है।

एमसीडी शिक्षकों की ओर से पेश वकील ने अदालत को सूचित किया कि जनवरी 2023 से लगभग 20,000 शिक्षकों को उनके देय वेतन का भुगतान नहीं किया गया है।

यह भी प्रस्तुत किया गया है कि केवल एक शिक्षक ही नहीं बल्कि एमसीडी के शिक्षा विभाग के सभी चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को भी जनवरी 2023 और फरवरी 2023 के महीनों के लिए उनके देय वेतन का भुगतान नहीं किया गया है।

याचिकाकर्ताओं के वेतन का भुगतान नहीं होने के कारण उनके परिवारों को इससे गंभीर आर्थिक संकट का सामना करना पड़ रहा है। वास्तव में, वे अपने बच्चों की स्कूल की फीस, ईएमआई, अपनी रसोई चलाने आदि का भुगतान करने में असमर्थ हैं, याचिका में कहा गया है।

(हेडलाइन को छोड़कर, यह कहानी NDTV के कर्मचारियों द्वारा संपादित नहीं की गई है और एक सिंडिकेट फीड से प्रकाशित हुई है।)

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